Panchtatvam Banner

ज्यादा गैस बनने से कौन सी बीमारी होती है? आयुर्वेदिक दृष्टिकोण से जानिए सच्चाई

🟠 जब पेट में गैस सिर्फ गैस नहीं होती...

क्या आपको अक्सर पेट में भारीपन, डकारें, जलन या बार-बार गैस की शिकायत रहती है?
क्या आपने इसे सिर्फ सामान्य पाचन गड़बड़ी मानकर अनदेखा कर दिया है?
सावधान हो जाइए। यही गैस धीरे-धीरे कई गंभीर बीमारियों का दरवाज़ा बन सकती है।

आजकल की जीवनशैली — देर से खाना, ज़्यादा खाना, बिना भूख खा लेना, या टीवी देखते हुए खाना — हमारे शरीर के त्रिदोष (वात, पित्त, कफ) को इस तरह असंतुलित कर देते हैं कि सबसे पहले असर पड़ता है हमारे जठराग्नि पर।
और जब अग्नि मंद पड़ती है, तो जो बनता है वो सिर्फ गैस नहीं — बीमारी की भूमिका होती है।

👉 हाल ही में एक आयुर्वेदिक शोध में यह स्पष्ट हुआ है कि 80% रोगों की जड़ पेट की गड़बड़ी और दोषों के असंतुलन में होती है।
गैस एक लक्षण है, चेतावनी है — और कभी-कभी एक गुप्त रोग का पहला संकेत!

💡 यदि आप जानना चाहते हैं कि आपके शरीर में कौन-सा दोष सबसे ज़्यादा सक्रिय है, तो यह मुफ़्त जाँच यहाँ से करें »

👉 यह भी पढ़ें- मैं रोज़ गैस से परेशान था, जब तक दादी ने ये 7 आदतें छोड़ने को नहीं कहा!

🟢 एक सच्ची कहानी: रामबाबू की ‘सामान्य’ गैस कैसे बनी एक जटिल बीमारी का कारण

Check Your Dosha

रामबाबू जी 42 वर्ष के एक स्कूल शिक्षक हैं।
हर दिन सुबह उठकर पेट फूला हुआ महसूस होता था, गैस, डकार और हल्का सिरदर्द — लेकिन उन्होंने सोचा, “ये तो हर किसी को होता है…”
वो गैस की गोली खाते रहे, थोड़ी राहत मिलती, फिर वही चक्कर दोहराता।

एक दिन उन्हें तेज़ सीने में जलन हुई, साँस लेने में परेशानी और पसीना आने लगा। डॉक्टर ने कहा — “आपको Acid Reflux है और शायद Fatty Liver की शुरुआत भी।”
यह सुनते ही उनका होश उड़ गया।

पर समस्या वहीं नहीं रुकी। आगे चलकर पाचन मंदता, नींद की कमी, और तनावजन्य थकावट उनके जीवन का हिस्सा बन गए।
तब एक वैद्यराज ने उनसे कहा —
आप अपने दोष को नहीं समझे, यही सबसे बड़ी भूल थी। शरीर चेतावनी देता रहा, आपने सुनी नहीं।”

💡 उन्होंने फिर किया Tridosh Test और पाया कि उनका वात-पित्त दोष गहराई से असंतुलित हो चुका था।
उसी दिन से उन्होंने भोजन, योग और पंचगव्य आधारित दिनचर्या अपनाई — और आज वे फिर से स्वस्थ जीवन जी रहे हैं।

आपके साथ ऐसा न हो, उससे पहले समझें गैस सिर्फ गैस नहीं है, यह एक संदेश है।

📌 👉 जानना चाहते हैं कि आपके भीतर कौन-सा दोष हावी है?
यहाँ क्लिक करें — त्रिदोष परीक्षण करें

👉 यह भी पढ़ें- मैं भी घंटों बाथरूम में बैठता था… जब तक वैद्य ने ये दोष नहीं बताया!

🧘‍♂️ क्या आप जानना चाहते हैं कि आपका दोष क्या है?

आयुर्वेद के अनुसार हर व्यक्ति में तीन दोष होते हैं – वात, पित्त और कफ। इस सरल ऑनलाइन टेस्ट से जानें कि आपका प्रमुख दोष कौन सा है और उसे संतुलित कैसे रखें।

🔍 अभी दोष जांचें

🔵 गैस क्यों बनती है? — आदतें, पाचन दोष और छुपे हुए संकेत

ज़्यादा गैस के कारण

7 Day Free Guide

गैस सिर्फ खाने की गलती से नहीं बनती — यह हमारे दिनभर की छोटी-छोटी आदतों का परिणाम होती है, जिनकी अनदेखी हम वर्षों तक करते हैं।

🔸 बार-बार खाना छोड़ना या ज़रूरत से ज़्यादा खाना
कभी देर से नाश्ता, तो कभी रात को भारी खाना। ये दो चरम शरीर की पाचन अग्नि को कमजोर कर देते हैं। जब अग्नि मंद होती है, तो भोजन ठीक से नहीं पचता और बनती है आम (विषैली अवशिष्ट) — यही आम गैस और रोगों का बीज है।

🔸 वात दोष की भूमिका
वात शरीर में गति का कारक है, परंतु जब यह बढ़ जाए — विशेषकर कब्ज, गैस, सूखा पेट, और पेट में हवा भरने जैसे लक्षण पैदा करता है। वात के कारण गैस बिना आवाज़ के बनती है लेकिन असर भीतर तक करता है — ये सबसे खतरनाक रूप है।

🔸 अग्नि मंद होने के संकेत

  • खाना देर से पचना
  • भारीपन
  • मुंह से बदबू
  • भूख न लगना
  • पाचन के बाद नींद आना
    इन संकेतों को नजरअंदाज करना मतलब रोग को न्योता देना।

🔸 मानसिक तनाव और उसका पेट पर असर
क्या आप जानते हैं कि चिंता और तनाव सीधे आपकी पाचन अग्नि को प्रभावित करते हैं? आयुर्वेद में इसे “मनसिक अग्नि मंद” कहा जाता है। जब मन स्थिर नहीं होता, पेट भी सही से काम नहीं करता।

🔸 भोजन के बाद तुरंत पानी पीना
ये आदत अग्नि को बुझा देती है, जिससे भोजन कच्चा रह जाता है और गैस बनने लगती है। जल का सेवन कम-से-कम 30 मिनट बाद करना चाहिए।

📌 👉 कभी-कभी ये समस्या शरीर में किसी प्रमुख दोष के असंतुलन की ओर संकेत करती है। जानने के लिए अभी अपना दोष जांचें »

👉 यह भी पढ़ें- यदि सुबह पेट साफ नहीं होता, तो ये 3 देसी कारण जानना आवश्यक है – तीसरा सबसे ख़तरनाक!

🌿 विशेष सुझाव: यदि आपको सिरदर्द, माइग्रेन, साइनस,अस्थमा या खर्राटे की समस्या है, तो यह 7-दिन की आयुर्वेदिक गाइड अवश्य पढ़ें।

इसमें मिलेगा – सुबह की दिनचर्या, नस्य प्रयोग विधि, भोजन सुधार, और घरेलू उपाय।

📥 अभी गाइड डाउनलोड करें

🔴 ज्यादा गैस बनने से कौन सी बीमारी होती है?

Check Your Dosha

गैस को यदि समय रहते नियंत्रित न किया जाए, तो यह धीरे-धीरे शरीर में गहरी बीमारियों का कारण बन सकती है:

अम्लपित्त (Acidity)
हर भोजन के बाद जलन, खट्टी डकारें और सीने में भारीपन गैस की वजह से होता है, जिससे धीरे-धीरे अम्लपित्त बनता है।

IBS (irritable bowel syndrome)
गैस के साथ बार-बार दस्त, पेट में ऐंठन और असहजता — यह एक आधुनिक नाम है, जिसका मूल आयुर्वेद में वात-पित्त विकृति है।

त्वचा विकार (Psoriasis, Urticaria)
जब आम रक्त में मिल जाती है, तो त्वचा पर चकत्ते, खुजली और दाने बनने लगते हैं — इसका मूल कारण अक्सर पाचन विकार होता है।

अनिद्रा और थकावट
गैस मस्तिष्क में वात को बाधित करती है, जिससे नींद उड़ जाती है और शरीर हमेशा थका-थका महसूस करता है।

सिर दर्द और एकाग्रता की कमी
पेट की गैस ऊपर चढ़े तो वह सिरदर्द, चक्कर और माइग्रेन तक का रूप ले सकती है।

शरीर में सूजन और जोड़ों का दर्द
गैस का वात में परिवर्तित हो जाना हड्डियों और जोड़ों में दर्द की नींव रखता है।

📌 ✳ यदि आप लंबे समय से गैस और पाचन की समस्या से परेशान हैं, तो यह सामान्य नहीं चिकित्सा की आवश्यकता है। 👉 परामर्श लें

👉 यह भी पढ़ें- भूख लगना बंद हो गई थी, मैंने सोचा डिप्रेशन है – लेकिन मूल कारण कुछ और निकला!

🌿 क्या आप अपने परिवार को रसायनमुक्त और प्राकृतिक जीवन देना चाहते हैं?

गौमाता के पंचगव्य से बनी औषधियाँ आज न केवल रोगों का समाधान हैं, बल्कि भविष्य की सुरक्षा भी हैं। हमारा ऑनलाइन पंचगव्य प्रशिक्षण आपको सिखाएगा कैसे बनाएं घरेलू औषधियाँ, साबुन, तेल, क्रीम और बहुत कुछ — सबकुछ शुद्ध, आयुर्वेदिक और प्राकृतिक।

🐄 अभी कोर्स देखें और परिवार को स्वस्थ बनाएं
🧘‍♂️ क्या आप जानना चाहते हैं कि आपका दोष क्या है?

आयुर्वेद के अनुसार हर व्यक्ति में तीन दोष होते हैं – वात, पित्त और कफ। इस सरल ऑनलाइन टेस्ट से जानें कि आपका प्रमुख दोष कौन सा है और उसे संतुलित कैसे रखें।

🔍 अभी दोष जांचें

🟢 आयुर्वेद क्या कहता है? दोषों की दृष्टि से गैस की समस्या

गैस की समस्या आयुर्वेदिक उपाय

आयुर्वेद मानता है कि गैस की जड़ शरीर के त्रिदोष — वात, पित्त और कफ — के असंतुलन में होती है।

🔸 वात दोष में गैस — सूखी डकार, हल्का फूला पेट, कब्ज
🔸 पित्त दोष में गैस — जलन, खट्टी डकारें, मुंह का स्वाद बिगड़ना
🔸 कफ दोष में गैस — भारीपन, आलस्य, नींद के बाद भी थकान

विशेष रूप से वातज विकृति में गैस सबसे आम है — और यही अक्सर IBS, कब्ज और वातव्याधियों को जन्म देती है।

🪔 पंचगव्य का योगदान
देसी गाय के पंचगव्य (दूध, दही, घृत, गोमूत्र, गोबर) का उपयोग न केवल शरीर को शुद्ध करता है बल्कि दोषों को गहराई से संतुलित करता है।
👉 यदि आप इसे घर पर सीखना चाहते हैं, तो हमारा गव्यशाला पंचगव्य प्रशिक्षण आपको पूर्ण मार्गदर्शन देगा।

🧪 और यदि आप पहले से ही अपने दोष को जानते हैं, तो अगला कदम होना चाहिए —
👉 Tridosha Balancing समाधान » — ताकि गैस की जड़ से चिकित्सा हो सके, सिर्फ लक्षण नहीं दबें।

👉 यह भी पढ़ें- मैं हर समय थका-थका सा रहता था, जब तक Tridosh Tool ने लीवर की सच्चाई नहीं बताई

🍃 अनुभव: कविता राठौर, अजमेर

"कुछ महीने से हर सुबह पेट फूला हुआ, भारी और गैस से भरा लगता था। उलझन इतनी थी कि ठीक से बैठना भी मुश्किल होता। ऐलोपैथी दवाएं बस कुछ घंटों का आराम देतीं।"

तभी किसी ने Tridosh Calculator का लिंक भेजा। परिणाम आया — मेरे शरीर में वात और पित्त दोनों बढ़े हुए हैं। यही कारण था पेट की हवा और जलन का।

फिर मैंने त्रिकटु चूर्ण, भ्रामरी प्राणायाम और Pranasya जैसी चीजें अपनाईं। अब ना पेट फूलता है, ना जलन, ना ही थकान रहती है। पहली बार लगा कि जड़ पर असर हुआ है।

📘 — आयुर्वेद की सबसे बड़ी शक्ति है: सही कारण तक पहुंचना।

→ जानिए आपका दोष क्या कहता है? अभी जांचें

Buy Pranasya Nasya
🌿 Pranasya नस्य तेल

सिरदर्द, माइग्रेन, साइनस, खर्राटे और नाक की रुकावट के लिए परिणामकारी घरेलू उपाय। केवल 7 दिन में अंतर अनुभव करें।

⭐⭐⭐⭐⭐ (12000+ संतुष्ट ग्राहक)

⏳ आज का ऑफर: ₹890 मात्र! (M.R.P ₹990)

🛒 अभी खरीदें

🟠 मिथक बनाम सत्य: “गैस तो हर किसी को होती है” — क्या ये सोच घातक है?

👤 आपके दोषों को चाहिए एक व्यक्तिगत समाधान

हर शरीर अलग होता है, और त्रिदोष असंतुलन की जड़ें भी अलग-अलग हो सकती हैं। अगर आप चाहते हैं:

  • 1-on-1 कंसल्टेशन किसी विशेषज्ञ से
  • 15 दिन का निजी खानपान और दिनचर्या प्लान
  • आपके दोष के अनुसार जड़ी-बूटी और उपाय
...तो यह समाधान विशेष रूप से आपके लिए है। सीमित स्लॉट्स — जल्दी जुड़ें।

📞 व्यक्तिगत परामर्श प्राप्त करें

हमारे समाज में गैस को लेकर कई ऐसी धारणाएं हैं, जो ना केवल गलत हैं बल्कि खतरे की घंटी को अनदेखा करती हैं।
आइए, कुछ आम मिथकों की परतें खोलते हैं:

गैस सामान्य है”
➡ यह सबसे बड़ा भ्रम है। गैस कभी भी लगातार नहीं होनी चाहिए। बार-बार बन रही है तो शरीर कुछ कहना चाह रहा है — उसे सुनिए।

ठंडी चीज़ों से गैस होती है”
➡ सही है। ठंडा दूध, दही, आइसक्रीम, कोल्ड ड्रिंक — पाचन अग्नि को मंद कर देते हैं और वात बढ़ाते हैं।

गैस से सिर्फ डकार आती है”
➡ नहीं। गैस का प्रभाव सिर दर्द, थकावट, नींद की गड़बड़ी, त्वचा पर दाने — इन सभी में हो सकता है।

गैस से जोड़ों में दर्द हो सकता है?”
➡ बिल्कुल। आयुर्वेद में वात दोष से जुड़ी गैस शरीर में घूमती रहती है और हड्डियों-जोड़ों में जाकर दर्द उत्पन्न कर सकती है।

🔍 👉 इसी प्रकार के भ्रमों से बचने और शरीर की सही दिशा जानने के लिए
अपना दोष अभी जांचें »

👉 यह भी पढ़ें- हर खाने के बाद पेट गुब्बारे जैसा फूलता था – अब पता चला दोष कहाँ था!

🟢 प्राकृतिक समाधान: प्राणायाम, योग और आहार संयम

पेट फूलना घरेलू इलाज प्राणायाम और योग
⚖️ क्या आपका त्रिदोष संतुलन बिगड़ा हुआ है?

आपने अपने दोष का विश्लेषण कर लिया है — अब समय है संतुलन की ओर पहला कदम बढ़ाने का।

पंचतत्त्व का त्रिदोष समाधान एक गहराई से तैयार मार्गदर्शिका है जिसमें शामिल हैं:

  • त्रिदोष रिपोर्ट + घरेलू उपाय
  • खानपान और योग दिनचर्या
  • विशेषज्ञ परामर्श (यदि चुना जाए)
यह समाधान कई लोगों के जीवन में बदलाव ला चुका है — अब आपकी बारी है।

🌿 समाधान देखें और संतुलन शुरू करें

गैस की समस्या जितनी आम है, उसका समाधान भी उतना ही सरल और प्रकृति के करीब है — बस सही दिशा चाहिए। आयुर्वेद और योग हमें न केवल लक्षणों से राहत दिलाते हैं, बल्कि शरीर के दोषों को जड़ से संतुलित करने का मार्ग दिखाते हैं।

🔸 वाय releases के लिए विशेष प्राणायाम और योगासन

  • पवन मुक्तासन: यह आसन गैस को बाहर निकालने और आंतों में संचार बढ़ाने के लिए सर्वोत्तम माना जाता है।
  • कपालभाति: यह प्राणायाम पाचन अग्नि को तेज करता है और आम को नष्ट करता है।
  • अग्निसार क्रिया: यह पेट की मांसपेशियों को सक्रिय करता है, जिससे गैस बाहर निकलती है और पाचन सुधरता है।

🔸 भोजन संयम क्या, कब और कैसे खाएं

  • भोजन से 10 मिनट पहले अदरक में नींबू और सेंधा नमक मिलाकर लेना — अग्नि को जाग्रत करता है।
  • भोजन के बाद त्रिकटु चूर्ण (सोंठ, मरीच, पिप्पली) को गुनगुने जल या गोघृत के साथ लेना — गैस, आम और पाचन दोषों को दूर करता है।

🔸 आयुर्वेदिक नुस्खे और गौ-उत्पन्न समाधान

  • गोघृत में त्रिकटु मिलाकर सेवन — वात और आम को नष्ट करता है।
  • गोमूत्र अर्क में हरड़ मिलाकर — कब्ज और गैस दोनों के लिए उपयोगी।
  • गौदधि से बना तक्र (छाछ) — पाचन तंत्र को ठंडक देता है, गैस नहीं बनने देता।

📌 और यदि आपकी समस्या इंद्रियों की धीमी कार्यक्षमता, निर्णय में भ्रम या पाचन की मंदता से जुड़ी है, तो
👉 Pranasya – The Smart Formula एक सटीक आयुर्वेदिक मार्गदर्शन है — इंद्रियों को तेज करने के लिए।

👉 यह भी पढ़ें- हर योग हर शरीर के लिए नहीं होता – पहले जानिए अपना दोष, वरना पछताना पड़ सकता है!

🔴 अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न (FAQ)

1. क्या गैस की समस्या से डायबिटीज़ या बीपी जैसी बीमारी हो सकती है?

👉 हां, यदि गैस बार-बार बन रही है और अग्नि मंद हो चुकी है, तो वह पाचन, नींद, और हार्मोन संतुलन को प्रभावित कर सकती है। इससे आगे चलकर मधुमेह और उच्च रक्तचाप जैसी समस्याएं जन्म ले सकती हैं।

👉 हां, यह Fatty Liver, Biliary Sludge या पित्त दोष का भी संकेत हो सकता है। विशेष रूप से जब गैस के साथ पीलापन, थकान और पाचन मंदता हो।

👉 अदरक का रस + सेंधा नमक, त्रिकटु चूर्ण + गुनगुना जल, हींग का लेप नाभि पर लगाना, तक्र का सेवन — ये सभी अत्यंत लाभकारी हैं।

👉 बहुत सरल है — आप घर बैठे यह जान सकते हैं, बस 2 मिनट का यह परीक्षण करें:
🔗 यहाँ क्लिक करें » त्रिदोष परीक्षण

👉 बिल्कुल। यदि आपकी गैस की समस्या नींद, खर्राटों या पाचन से जुड़ी है, तो हमारी विशेष गाइड Snoring & Digestive Ebook जरूर पढ़ें — इसमें प्राकृतिक समाधानों का सार है।

💬 इन जैसे सवालों का उत्तर रोज़ाना जानना चाहते हैं?
तो जुड़िए हमारे समुदाय से, जहाँ पाचन, नींद और शरीर संतुलन से जुड़ी हर समस्या का समाधान मिलता है।

👉 यहाँ क्लिक करके WhatsApp समूह से जुड़ें
(स्थान सीमित हैं, आज ही जुड़ें।)

👉 यह भी पढ़ें- माँ की 3 बातों ने मेरा ध्यान बढ़ा दिया – अब हर कोई पूछता है मेरा सीक्रेट

आयुर्वेदिक परामर्श से जीवन में बदलाव लाएं 🌿

"हमने जबसे आयुर्वेदिक मार्गदर्शन लेना शुरू किया, तबसे न सिर्फ हमारी दिनचर्या सुधरी, बल्कि पुरानी थकान और सिरदर्द जैसी समस्याएं भी गायब हो गईं। ये परामर्श हमारी जीवनशैली को समझकर व्यक्तिगत समाधान देता है।"

👉 अभी आयुर्वेदिक परामर्श लें

🔵 निष्कर्ष: गैस, बीमारी का दरवाज़ा बन सकती है — चेत जाएं

⚖️ क्या आपका त्रिदोष संतुलन बिगड़ा हुआ है?

आपने अपने दोष का विश्लेषण कर लिया है — अब समय है संतुलन की ओर पहला कदम बढ़ाने का।

पंचतत्त्व का त्रिदोष समाधान एक गहराई से तैयार मार्गदर्शिका है जिसमें शामिल हैं:

  • त्रिदोष रिपोर्ट + घरेलू उपाय
  • खानपान और योग दिनचर्या
  • विशेषज्ञ परामर्श (यदि चुना जाए)
यह समाधान कई लोगों के जीवन में बदलाव ला चुका है — अब आपकी बारी है।

🌿 समाधान देखें और संतुलन शुरू करें

गैस को अगर आपने आज भी सिर्फ डकार, फुलाव या जलन समझकर छोड़ दिया,
तो कल यह शरीर में ऐसी बीमारियाँ जन्म दे सकती है —
जिनका इलाज केवल गोली से नहीं, जीवनशैली से होगा।

🔸 हर बार की डकार, भारीपन या सीने की जलन एक चेतावनी है —
शरीर धीरे-धीरे अपना संतुलन खो रहा है।

🔸 आयुर्वेद कहता है —
रोग पहले संकेत देता है, फिर दंड देता है।”
पर हमें अक्सर दंड के बाद ही समझ आता है।

🔸 अब समय है, हम फिर से जुड़ें प्रकृति से —
👉 पंचतत्व,
👉 पंचगव्य,
👉 और शरीर के त्रिदोषों के संतुलन से।

✅ यही असली चिकित्सा है —
जो लक्षण नहीं, जड़ को मिटाती है।

👉 यह भी पढ़ें-रात में सोते समय पेट की चर्बी कम करने के आसान उपाय

🌿 क्या आप अपने परिवार को रसायनमुक्त और प्राकृतिक जीवन देना चाहते हैं?

गौमाता के पंचगव्य से बनी औषधियाँ आज न केवल रोगों का समाधान हैं, बल्कि भविष्य की सुरक्षा भी हैं। हमारा ऑनलाइन पंचगव्य प्रशिक्षण आपको सिखाएगा कैसे बनाएं घरेलू औषधियाँ, साबुन, तेल, क्रीम और बहुत कुछ — सबकुछ शुद्ध, आयुर्वेदिक और प्राकृतिक।

🐄 अभी कोर्स देखें और परिवार को स्वस्थ बनाएं

🔸 क्या करें अब?

अब जब आप यह समझ चुके हैं कि गैस कोई छोटी बात नहीं —
तो अब देरी न करें, पहला कदम अभी उठाएं:

🔹 👉 अपना दोष जांचें अभी »
(2 मिनट की यह जांच बताएगी कि शरीर में कौन-सा दोष असंतुलित है)

🔹 👉 चिकित्सा परामर्श लें »
(यदि समस्या लगातार बनी हुई है, तो इसे अब टालें नहीं)

🔹 👉 Tridosh Balancing समाधान देखें »
(आपके दोष के अनुसार बनी यह प्रणाली शरीर को संतुलन की ओर ले जाएगी)

🔹 👉 Panchgavya कोर्स से जुड़ें »
(यदि आप चाहते हैं कि आपका परिवार भी घर में पंचतत्व आधारित जीवनशैली अपनाए)

🔹 👉 WhatsApp समुदाय से जुड़ें »
(ताकि आप हर सप्ताह ऐसे ही समाधान, औषधीय जानकारी और खास अपडेट पाते रहें)

📲 क्या आप हमारी हेल्थ कम्युनिटी से जुड़ना चाहते हैं?

हम हर दिन आपके लिए लाते हैं घरेलू नुस्खे, आयुर्वेदिक सुझाव और निःशुल्क परामर्श, वह भी सीधे आपके WhatsApp पर।

यदि आप सरदर्द, माइग्रेन, खर्राटे, साइनस, नींद, पाचन या अन्य किसी स्वास्थ्य समस्या से परेशान हैं, तो यह कम्युनिटी आपके लिए है।

👥 अभी कम्युनिटी जॉइन करें

Leave a Comment

📄 आपकी फ्री त्रिदोष रिपोर्ट – बस 2 मिनट में 💬 हमारे आयुर्वेदिक WhatsApp Channel से जुड़ें